बीकानेर । बहन भाई के प्यार का प्रतीक त्योहार रक्षाबंधन आज है। रक्षाबंधन  हिंदू पंचांग के अनुसार रविवार दोपहर 1.30 के बाद बहनें भाईयों की लम्बी उम्र  के लिए प्यार भरा रक्षा सूत्र बांधेगी। बताया जा रहा है कि इससे पहले  भद्राकाल का समय होने के कारण ना देवताओं के और ना भाईयों की कलाई  पर राखी बांधी जा सकेगी । हालांकि पूजा कार्य करने वाले पंडितों का कहना  है कि  पुच्छ काल में सुबह 11 बजकर 5 मिनट के बाद  राखी बांधी जा सकती  है। यह सब मान्यताओं के चलते हो रहा है। बताया जा रहा है कि भद्रा योग के  समय बहनें अगर भाई की कलाई पर राखी बांधती हैं तो इसका शुभ फल प्राप्त  नहीं होता।
बाजार राखियों से गुलजार
रक्षा बंधन के त्योहार को देखते हुए बाजार की बहुत सी दुकानों में राखियों की  बिक्री जोरों पर है। महिला बाजार के रूप में अपनी एक अलग पहचान बना  चुके तौलियासर भैरव गली में अधिकांश दुकानों के आगे पाटों पर राखियां  सजाकर बेची जा रही है। इन दुकानों में पांच रुपये से लेकर एक सौ बीस रुपये  और कहीं कहीं पर इससे भी ज्यादा कीमत की राखियां बेची जा रही है। बच्चों  के लिए स्पाइडर मैन और डोरीमोन की राखियों के अलावा सेल से जगमगाने  वाली लाईटों वाली राखियां ग्राहकों को आकर्षित कर रही है। इसके अलावा  फैशनेबल राखियों में आर्टिफिशियल डायमण्ड और रंग-बिरंगे नगीनों से बनी  राखियां भी महिलाओं को आकर्षित कर रही है।
खरीदारी में तेजी
रक्षाबंधन नजदीक आने के साथ ही महिलाओं ने राखियां खरीदने में तेजी  दिखाई है। हालांकि शहर के अधिकांश हिस्सों में राखियों की अस्थाई दुकानें  पन्द्रह दिन पहले ही सज गई थी। इन दुकानों में ज्यादातर राखियों की खरीदारी  उन्हीं महिलाओं के द्वारा की गई जो अपने दूर बैठे भाईयों को डाक द्वारा भेजी  जानी थी। इसके चलते ग्राहकी में भी विशेष तेजी नहीं थी। लेकिन पिछले  तीन-चार दिनों से राखियों की बिक्री में तेजी से इजाफा हुआ है। दुकानों में देर  रात तक महिलाओं को राखियों की खरीदारी करते हुए देखा गया। शहर के  अन्दरुनी क्षेत्र हर्षों का चौक, मोहता चौक, बड़ा बाजार, चूड़ी बाजार सहित  जस्सूसर गेट के बाहर, कोटगेट, स्टेशन रोड, रानीबाजार, महात्मागांधी मार्ग,  सट्टा बाजार आदि में राखियों की दुकानें सजी हैं जहां हर वर्ग के लिए राखियों  की वैरायटी उपलब्ध है जो लोगों को लुभा  रही है।
मिठाईयों की लगी अस्थाई दुकानें
सावन गोठों का भादवा मेलों का महीना और रक्षाबंधन,आगामी दिनों में बड़ी  तीज धमोली होने के कारण बाजार में इन दिनों अस्थाई मिठाई की दुकानें भी  संचालित होने लगी है। जिनमें रियायती दर पर देशी घी की मिठाईयां और  नमकीन की बिक्री की जा रही है। इन दुकानों में रक्षाबंधन त्यौहार के चलते   ग्राहकी में तेजी दिखाई दी। पुराना जेलरोड पर जन जनेश्वर सेवा संस्थान और  श्रीजी सेवा संस्थान की सेवाएं संचालित हो रही है। इसके अलावा मोहता चौक  और बड़ा बाजार जस्सूसर गेट क्षेत्र में भी सेवा संस्थान खुलने लगे हैं।
अब डिजाइनर राखियां का जमाना       
भाई-बहन के स्नेह का प्रतीक और रक्षाबंधन पर भाई की कलाई पर बंधने वाली  राखियां भी अब मार्डन हो गई हैं। रेशम के छोटे से धागे से ही बाजार लगने लगा  है।

नतीजा यह कि रंग-बिरंगी राखियां भी महंगाई की भेंट चढ़ गई हैं। बहनें धागे  की जगह अपने भाइयों के लिए डिजाइनर राखियां बांधना पसंद करने लगी हैं।  पारम्परिक और आधुनिक दोनों ही तरह की राखियां इस दिन देखने को मिलती  हैं। भले ही राखी खरीदने, बांधने या फिर भेजने के तरीकों में बदलाव आ गया  हो पर इस दिन का महत्व कम नहीं हो पाया है। आज भी बहनें इस दिन का  इंतजार करती हैं। बिना किसी शर्त के भाई-बहन में प्यार, आदर और एक दूसरे  की चिंता इस दिन की महत्ता को जाहिर करती है।
बदलते समय के साथ राखी के डिजाइन में बहुत बदलाव आया है। साधारण सी  दिखने वाली राखी अब डिजाइनर बन गई है। बाजारों में राखी का स्वरूप  काफी बदल चुका है। बच्चों के बीच भी आज रेशमी धागे की कोई जगह नहीं  बची, वे तो अपने फेवरेट कार्टून कैरेक्टर वाली राखियां पसंद करते हैं। दूसरी  ओर चंदन सी महकती राखी हर किसी का मन मोह लेती है। बहनों के लिए  बाजार कई तरह की राखियों से अटा पड़ा है।
अगर आपके भाई फूलों की तरह कोमल हैं, तो फ्लोरल राखी खरीदी जा  सकती है। वैसे भी फूल किसे पसंद नहीं होते और यही राखी के रूप में भाई की  कलाई पर बांधी जाए तो आपका भाई भी फूलों की तरह खिल उठेगा। रेशम,  मोती और जरी से बनी राखियों की बात ही कुछ और होती है। यह देखने में  अत्यधिक सुंदर लगती है। इसे देखकर ही खरीदने का मन करता है। रेशम के  धागे के साथ जरी वर्क आपकी भाई की कलाई में खूब जंचेगी। रक्षाबंधन कल  मनाया जाएगा इस दिन बहनें अपने भाई के लिए अच्छी से अच्छी राखी लेना  पसंद करती हैं। अगर आप कुछ अलग और बेहतर चाहती हैं, तो कीमती पत्थर  जड़ी राखियां, सिल्वर, गोल्ड और डायमंड की राखियां अपने भाई के लिए  खरीद सकती हैं। ये राखियां आप किसी अच्छी जूलरी शॉप से ही खरीदें। अगर  आप यह चाहती हैं कि आपका भाई कुछ दिन तक आपकी बांधी हुई राखी पहने  रहे, तो मेटल चेन और ब्रेसलेट राखी अच्छा विकल्प है। भले ही इन राखियों की  कीमत कुछ ज्यादा है पर आपका भाई तो सबसे अनमोल है। ये राखियां सौ  रुपए से शुरू होकर दस हजार रुपए तक की आती हैं। आप अपने बजट के  अनुसार इसे खरीद सकती हैं और इस दिन की खुशियों में चार चांद लगा सकती  हैं। बड़े शहरों में रह रही बहनें अब अपने भाइयों को डिजाइनर राखियां भेजने  लगी हैं।



प्रभा बिस्सा
  बीकानेर
Axact

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